जोधपुर। जन्म असम में, बचपन की पढ़ाई जोधपुर में, इंजीनियरिंग जयपुर से, एमबीए हैदराबाद से और सिंगर बनने पहुंच गई मुंबई। यह कहानी है जोधपुर निवासी कर्नल पीएन सहाय व डॉ. उषा सहाय की बेटी अनुजा सहाय की जो जल्द ही हिंदी सिनेमा में डेब्यू करने जा रही है। फिल्म की शूटिंग हाल ही राजस्थान में पूरी हुई है। अनुजा इसमें लोक नृतिका का किरदार निभा रही है, जो जुल्म के खिलाफ खड़ी होती है।
अनुजा की कहानी कुछ इस तरह है कि माता-पिता बचपन से उसे इंजीनियरिंग में नाम कमाने के लिए प्रेरित कर रहे थे। जन्म असम में होने के बाद वह परिवार के साथ जोधपुर आ गई। यहां राजमाता कृष्णा कुमारी स्कूल में पढ़ाई करने के बाद इंजीनियरिंग करने के लिए जयपुर नेशनल यूनिवर्सिटी जयपुर पहुंच गई। इलेक्ट्रोनिक्स एंड कम्प्यूनिकेशन में इंजीनियरिंग के बाद एमबीए करना था। इस बीच, व्यास इंस्टीट्यूट जोधपुर में तीन माह तक असिस्टेंट प्रोफेसर की जॉब की और एक एफएम चैनल में ट्रेनी भी रहीं। फिर एमबीए के लिए आईबीएस हैदराबाद का रुख किया। एमबीए पूरा करते ही हैदराबाद में ही एक कंपनी में ट्रांजेक्शन मैनेजर के रूप में 9 माह तक जॉब की। इसके बाद अनुजा ने मुंबई की चमकती दुनिया में खुद की मंजिल की तलाश शुरू करते हुए अपने बचपन के शौक को पूरा करने की ठान ली। बतौर सिंगर नाम कमाया, डांसर के रूप में टैलेंट दिखाया। अपने साथी विक्की के साथ मिलकर खुद का रूतबा नाम से फ्यूजन रॉक बैण्ड व कामाख्या म्यूजिक कम्पनी व प्रॉडक्शन हाउस शुरू किया।
अब अपने इसी प्रॉडक्शन हाउस के बैनर तले वह अपने सपने को सच करने जा रही है। बतौर अभिनेत्री पहली हिंदी मूवी अलबेली फ्लोर पर आ चुकी है। यह फिल्म एक लोक नर्तक की भावनात्मक और दिल दहला देने वाली कहानी है, जो न केवल अपने अस्तित्व के लिए लड़ती है, बल्कि वह अपने परिवार और समाज द्वारा खड़ी की गई सभी बाधाओं के खिलाफ खुद को साबित करने के लिए भी लड़ती है। फिल्म के निर्माता कामख्या स्टूडियोज की अनुजा सहाय खुद है तो लेखक एवं निर्देशक सत्येन्द्र चौहान हैं।
फिल्म के मुख्य कलाकारों में अलबेली की मुख्य भूमिका में अनुजा सहाय, दबंग सज्जन सिंह की भूमिका में नेमीचंद,पर्यटक आकाश की भूमिका में राम अरोड़ा,जग्गी की भूमिका में उमेश गिरि, दरोगा की भूमिका में पंकज तंवर, यात्री की भूमिका में जयवर्धन सिंह, पिता की भूमिका में अफ़ज़ल हुसैन हैं।